उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन (FDA) की टीम ने बुधवार को एक बड़ी कार्रवाई करते हुए लगभग 500 किलो मिलावटी पनीर जब्त किया है। यह पनीर एक कार में बेहद अस्वच्छ तरीके से ले जाया जा रहा था, जो न केवल खाद्य सुरक्षा मानकों का उल्लंघन था, बल्कि आम जनता के स्वास्थ्य के लिए भी गंभीर खतरा पैदा कर सकता था। इस कार्रवाई से यह संदेश गया है कि खाद्य सुरक्षा के साथ खिलवाड़ करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा।
कैसे पकड़ी गई मिलावटी पनीर की खेप
जिला FDA अधिकारी मनीष सयाना और रमेश सिंह को गुप्त सूचना मिली थी कि मिलावटी पनीर की एक बड़ी खेप देहरादून लाई जा रही है। इस सूचना के आधार पर, उन्होंने स्थानीय पुलिस चौकी इंचार्ज निरंजनपुर मंडी, प्रमोद भंडारी की टीम के साथ मिलकर भंडारी बाग क्षेत्र में एक सघन चेकिंग अभियान चलाया।
चेकिंग के दौरान, टीम को एक सफेद हुंडई इयोन कार वैन संदिग्ध हालत में दिखी। अधिकारियों ने तुरंत कार को रोका और उसकी तलाशी ली। तलाशी के दौरान जो सामने आया, वह चौंकाने वाला था।
अस्वच्छ परिस्थितियों में ढोया जा रहा था पनीर
कार की डिग्गी और पीछे की सीट से लगभग 500 किलो पनीर बरामद किया गया। यह पनीर बिना किसी उचित ठंडा रखने की व्यवस्था (cooling system) के ढोया जा रहा था। सबसे चिंताजनक बात यह थी कि पनीर को बेहद अस्वच्छ प्लास्टिक की बोरियों में भरकर खुले में रखा गया था, जिससे उसके दूषित होने का खतरा बढ़ गया था। मौके पर ही पनीर की प्रारंभिक भौतिक जांच की गई, जिसमें वह मानव उपभोग के लिए अनुपयुक्त पाया गया। यह दर्शाता है कि पनीर में मिलावट की गई थी या उसे इतनी खराब परिस्थितियों में रखा गया था कि वह खाने लायक नहीं रहा।
वैध दस्तावेजों का अभाव और तत्काल जब्ती
वाहन में पनीर का स्वामी, मोहम्मद इरशाद पुत्र खलील अहमद नामक व्यक्ति मौजूद था। जब टीम ने उससे पनीर से संबंधित वैध दस्तावेज मांगे, तो वह कोई भी आवश्यक कागजात प्रस्तुत नहीं कर सका। वैध दस्तावेजों के अभाव और पनीर की खराब गुणवत्ता को देखते हुए, FDA टीम ने तत्काल प्रभाव से पूरे 500 किलो पनीर को जब्त कर लिया।
FDA का सख्त संदेश: ‘गैरकानूनी धंधा बर्दाश्त नहीं’
अपर आयुक्त ताजबर सिंह जग्गी ने इस कार्रवाई के बाद एक कड़ा बयान जारी किया। उन्होंने कहा यह बरामदगी इस बात का प्रमाण है कि कुछ लोग अभी भी गैरकानूनी तरीके से बाजार में नकली और घटिया खाद्य उत्पाद खपाने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन विभाग पूरी तरह से सतर्क है और ऐसे तत्वों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा रही है।
यह कार्रवाई देहरादून में खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। मिलावटी खाद्य पदार्थों से लोगों के स्वास्थ्य को गंभीर नुकसान हो सकता है, और FDA ऐसे मामलों में जीरो-टॉलरेंस की नीति अपना रहा है। विभाग ने ऐसे अवैध धंधों में लिप्त लोगों को चेतावनी दी है कि वे सतर्क रहें, क्योंकि उन पर लगातार नजर रखी जा रही है। भविष्य में भी ऐसी कार्रवाइयां जारी रहेंगी ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि उपभोक्ताओं तक केवल सुरक्षित और गुणवत्तापूर्ण खाद्य उत्पाद ही पहुंचें।