नैनीताल इन दिनों शांत झीलों का नहीं, बल्कि उफनते जनाक्रोश का शहर बन चुका है। एक नाबालिग बच्ची से दुष्कर्म की जघन्य घटना के बाद पूरे जिले में मानो आक्रोश का विस्फोट हो गया हो। शुक्रवार को लगातार तीसरे दिन नैनीताल की सड़कों पर हज़ारों की भीड़ उतर आई, जिसने जोरदार प्रदर्शन किया। लोग नारेबाज़ी कर रहे हैं, जगह-जगह हनुमान चालीसा का पाठ किया जा रहा है और कानून-व्यवस्था को लेकर प्रशासन से जवाबदेही मांगी जा रही है।
एसएसबी तैनात, फ्लैग मार्च और चौकसी चरम पर
नैनीताल के माल रोड पर सुरक्षा व्यवस्था को अभेद्य बनाने के लिए एसएसबी को तैनात किया गया है। एसएसपी के नेतृत्व में पुलिस बल ने फ्लैग मार्च किया, ताकि किसी भी अप्रिय स्थिति को रोका जा सके। हालात इतने संवेदनशील हैं कि प्रशासन ने जुमे की नमाज को लेकर विशेष सतर्कता बरती है। मस्जिद के आसपास भारी संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया गया है, जिसमें एडीएम प्रशासन, संयुक्त मजिस्ट्रेट, एसपी क्राइम और एसडीएम तक खुद मौके पर मौजूद हैं।
महिलाओं की अगुवाई में धरना, शहरवासी संगठित
पीपुल्स फोरम और कई सामाजिक संगठनों ने दांठ इलाके में जबरदस्त प्रदर्शन किया। बड़ी संख्या में महिलाएं सड़क पर उतरीं और आरोपी को फांसी की सज़ा की मांग की। नगर पालिकाध्यक्ष डॉ. सरस्वती खेतवाल भी धरने पर पहुंचीं और जनता से शांति बनाए रखने की अपील की। उन्होंने कहा घटना से हम सब स्तब्ध हैं, लेकिन हिंसा इसका समाधान नहीं। कानून को अपना काम करने दें।
पूरा घटनाक्रम: किसने तोड़ी देवभूमि की मर्यादा
बुधवार को नैनीताल शहर में जैसे ही यह खबर फैली कि एक बुजुर्ग ठेकेदार उस्मान ने एक मासूम बच्ची के साथ दुष्कर्म किया है, लोगों का खून खौल उठा। मल्लीताल की गलियों में देखते ही देखते भीड़ उमड़ पड़ी और गुस्साई भीड़ ने मुस्लिम समुदाय की दुकानों में तोड़फोड़ शुरू कर दी। कुछ लोगों ने वाहनों को पलट दिया, दुकानों के आगे का सामान फेंक दिया और कई घरों पर पत्थरबाजी भी की गई। हिंसा में कई घरों के शीशे टूट गए और हालात बिगड़ते देख पुलिस को मोर्चा संभालना पड़ा।
सीएम धामी का एक्शन मोड: हाईलेवल मीटिंग, सख्त निर्देश
देहरादून से आई बड़ी खबर के मुताबिक, उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने नैनीताल और ऊधम सिंह नगर की घटनाओं को लेकर अपने सरकारी आवास पर उच्चाधिकारियों के साथ हाईलेवल बैठक की। उन्होंने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए कि आरोपी को जल्द से जल्द कानून के शिकंजे में लाया जाए और पीड़िता को पूर्ण सुरक्षा दी जाए। उन्होंने यह भी कहा कि “जो भी व्यक्ति या संगठन देवभूमि की एकता को तोड़ने की कोशिश करेगा, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।”
सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने वालों पर सख्ती
सरकार और प्रशासन सोशल मीडिया पर फैल रही अफवाहों को लेकर भी गंभीर है। अफवाह फैलाने वालों की पहचान कर उन पर कड़ी कानूनी कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं। साथ ही, पूरे जिले में नागरिकों के सत्यापन अभियान को भी तेज किया जा रहा है।
देवभूमि की अस्मिता के साथ खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं
मुख्यमंत्री धामी ने साफ शब्दों में कहा उत्तराखंड की पवित्र भूमि के सम्मान से खिलवाड़ करने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। यह देवभूमि है, यहां की एकता और संस्कृति हमारी पहचान है। कोई भी व्यक्ति जो सामाजिक सौहार्द बिगाड़ने का प्रयास करेगा, उस पर सरकार का कानून पूरी सख्ती से टूटेगा।